सोमवार, 30 मार्च 2020

Shayri 3



सब धर्म एक है !!







एक शाम मेरे मन में ये सवाल उठ रहे थे,
हम इंसान तो है पर इंसानियत भूल  रहे थे!!


नफरत की आंधी में सब बहे जा रहे है,
अपनों  बीच भी सब बेगाने हुए जा रहे है!!


मजहब के नाम पर जाने कितनो ने जान गवाई है,
क्या हिन्दू क्या मुस्लिम, हकीकत में तो इंसानियत ने ही कीमत चुकाई है!!


मजहबो के नाम पर बटवारा हम इंसान ने ही किया,
फिर भी इस मजहब को  बचाने में ऐ इंसान,
देख तू आज कितना गिर गया!!

MORALE: "RELIGION IS FOR HUMAN BUT HUMANITY IS SUPREME RELIGION."

BEST WISHES

NAVAL KISHORE

31-03-2020


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